नवसवत्सर की हार्दिक शुभकामनाएं
नवसवत्सर 06 अप्रैल को गठित होगा आकाशीय ग्रहों का मंत्री मण्डल ।
जीवन दर्पण श्री रामेश्वर पंचांग के अनुसार आकाशीय ग्रहों का मन्त्रिमण्डल में स्थान
जय जननी, जगदीश्वरी, तू जग की प्रतिपाल।
छिहत्तर संवत् फल कहौ, श्री मुझसे सब हाल।।
सुन ले भेरव प्रेम से में समझाऊं तोय।
राजा मंत्री देवतां उत्तम संवत् होय।।।
उग्र ग्रहों ने वर्ष में लिए आठ अधिकार।
फलाधिप राजा शनि हुए ,रवि हैं मंत्री विचार।।
दुर्गाधिप शनि देव हैं मेघेशोऽपि संभाल।।
रसाधिप तो गुरुदेव हैं समझौ उत्तम साल।।।
| सस्प धन नीरस पति मंगल हुए सहाय।।
धान्याधिप शशिदेव हैं जन सुख होसी भाय।।
समय निवासी रजक घर, रोहिणी तट मे जाय।
| चतुर्मोघ तो द्रोण हैं, वर्षा बहुत दिखाए।।
सदा विराजत चित्त में, गुरु चरणों की धूल।
हाथ जोड़ विनती करूं हो कोई जो मेरी भूल।।
गुरु ध्यान धर फल कहा संवत् छिहत्तर साल।
मात पिता जैसे गुरु नहीं , गुरु है श्री दीन दयाल ।।
परिधावी नाम सम्वत्सर में यही ग्रहों की चाल ।
अक्षय शास्त्री अर्ज करे मेरी लज्जा राखियों अंजनी के लाल ।।